एनजीटी के नियमों को ताक पर रखकर गंगा किनारे किया जा रहा होटल का निर्माण

हरिद्वार। कनखल सन्यास रोड स्थित रामेश्वर आश्रम के सामने वाली गली में गंगा से महज 150 मीटर की दूरी पर निर्माण कार्य चल रहा है। सूत्रों से मिली जानकारी के अनुसार नियमों का उल्लंघन कर गंगा किनारे होटल का निर्माण किया जा रहा है। जिसके लिए हरिद्वार विकास प्राधिकरण से नक्शा तक स्वीकृति नहीं कराया गया है। बिना नक्शा पास कराए ही 4 मंजिला निर्माण हो चुका है। जिससे संबंधित विभाग की मिलीभगत से इनकार नहीं किया जा सकता। यह हाल तब है जब गंगा तट पर किसी भी तरह के निर्माण पर प्रतिबंध है। गंगा से 200 मीटर की दूरी होने के बाद भी निर्माण कार्य लगातार जारी है।
यह क्षेत्र आवासीय व संत बहुल्य है। जहां पर महाकुंभ व अर्द्धकुंभ के साथ ही कांवड़ यात्रा में बड़ी आवाजाही होती है। अवैध रूप से होटल बनने से इस शांत इलाके पर काफी विपरीत असर होगा। यह भी बताया जा रहा है कि इस निर्माण में हरिद्वार रुड़की विकास प्राधिकरण के एक उच्च अधिकारी व एक आर्किटेक्ट की मिलीभगत है। प्राधिकरण के द्वारा जारी किए जाने वाले नियम सिर्फ शहरी जनता तक ही सीमित रह जाते हैं। जब खुद विभाग के अधिकारियों व उनके खास लोगों की बात होती है। तो इन निर्माण कार्यों को आंख मूंद कर तैयार कराया जाता है। सूत्रों का कहना है कि विभाग के अधिकारी व आर्किटेक्ट के साथ मिलकर मोटा मुनाफा कमा रहे हैं। गौरतलब है कि एचआरडीए की अनदेखी के चलते हरिद्वार में अवैध निर्माण की बाढ़ सी आ गयी है। प्रभावशाली व रसूखदार लोग नियमों को ताक पर रखकर निर्माण कर रहे हैं। इसमें सबसे चिंताजनक पहलू यह है कि एनजीटी द्वारा गंगा किनारे दौ सौ मीटर तक निर्माण करने पर लगायी गयी रोक का पालन भी एचआरडीए व अन्य संबंधित विभाग नहीं करा पा रहे हैं। वहीं, एचआरडीए के सचिव उत्तम सिंह चौहान का कहना है कि उन्हें इस मामले उन्हें जानकारी नहीं है। अब मामला उनके संज्ञान में आया है। मौके पर अधिकारियों को भेजकर जांच करायेंगे।

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